
UP E challan Good News: उत्तर प्रदेश के लोगों के लिए दिवाली से पहले एक बहुत बड़ी खुशखबरी मिली है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार यूपी सरकार का बड़ा फैसला सामने आया है। रिपोर्ट के अनुसार उत्तर प्रदेश सरकार ने जनता को दिवाली से पहले बड़ी राहत देने का वडा कर दिया है। ऑनलाइन उपलब्ध जानकारी के मुताबिक़ अब 2017 से 2021 तक बने गैर-कर (Non-Tax) ई-चालान खत्म कर दिए जाएंगे। इससे लाखों वाहन मालिकों को राहत मिलेगी और वाहन से जुड़े अवरोध भी हट जाएंगे। यूपी सरकार का बहुत बड़ा तोहफा है ये, इस न्यूज़ के बाहर आतें ही लोगों के चेहरे पर मानो ख़ुशी की लहर दौड़ पड़ी।
कितने चालान प्रभावित
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार उत्तर प्रदेश में साल 2017 से 2021 के बीच कुल 30.52 लाख ई-चालान बने थे। इनमें से लगभग 17.59 लाख चालान पहले ही निपटाए जा चुके थे। लेकिन तक़रीबन 12.93 लाख चालान अब भी लंबित थे। इनमें से 10.84 लाख चालान कोर्ट में पेंडिंग थे। जबकि 1.29 लाख चालान ऑफिस लेवल पर अटके हुए थे। अब इन सभी लंबित चालानों को खत्म कर दिया जाएगा।
आधिकारिक पोर्टल पर चालान कैसे देखें
रिपोर्ट के अनुसार उत्तर प्रदेश सरकार ने इन चालानों को दो श्रेणियों में डालने का फैसला किया है:
पहला है Disposed – Abated : अगर चालान कोर्ट में लंबित था, तो अब इसे निस्तारित मान लिया जाएगा।
दूसरा है Closed – Time-Bar (Non-Tax) : अगर चालान ऑफिस में पेंडिंग था और उसकी समय-सीमा निकल चुकी है, तो इसे बंद मान लिया जाएगा। इसका मतलब यह है कि पुराने ई-चालान अब रिकॉर्ड में तो रहेंगे, लेकिन उनसे जुड़ी कोई रुकावट नहीं होगी।
सरकार के इस निर्णय से लोगों को क्या फायदा मिलेगा
सरकार द्वारा लिए गए इस निर्णय से लोगों को काफी राहत मिला है, पुराने चालान हटने के बाद: फिटनेस सर्टिफिकेट, वाहन का परमिट, वाहन ट्रांसफर, और HSRP (हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन प्लेट) जैसी सेवाओं में जो अवरोध थे, वे स्वतः हट जाएंगे।
इसके लिए आम जनता को क्या करना होगा
यदि आपका चालान 2017–2021 के बीच का है और अभी पोर्टल पर पेंडिंग दिख रहा है, तो 30 दिन बाद परिवहन पोर्टल पर जाकर अपनी स्थिति जांच लें। अगर चालान कोर्ट में लंबित था तो अब यह Disposed – Abated दिखेगा। अगर चालान ऑफिस में अटका था और समय-सीमा पार हो चुकी थी तो यह Closed – Time-Bar (Non-Tax) दिखेगा। लेकिन ध्यान रहे: टैक्स से जुड़े चालान इस राहत के दायरे में नहीं हैं। किसी भी समस्या के लिए आप 149 हेल्पलाइन या नजदीकी RTO/ARTO ऑफिस से संपर्क कर सकते हैं।
किन चालानों पर यह राहत नहीं मिलेगी? टैक्स से जुड़े चालान, गंभीर अपराध से जुड़े मामले, सड़क दुर्घटना या IPC (भारतीय दंड संहिता) से जुड़े चालान। यानी यह राहत सिर्फ साधारण और गैर-कर वाले चालानों के लिए है।
आखिर यूपी सरकार ने यह फैसला क्यों लिया
आपमें से काफी लोग यही कह रहे होंगे की आखिर उत्तर प्रदेश सरकार ने ऐसा फैसला क्यों लिया, तो आपको बता दें ताकि जनता को अनावश्यक चालानों और ब्लॉकों से राहत मिल सके। सेवाएं समय पर मिलें और पारदर्शिता बनी रहे। 31 दिसंबर 2021 तक के चालान जिनकी अब कोई वैधता नहीं बची, उन्हें हटाना जरूरी था। इससे जनता को सुविधा और विभाग को रिकॉर्ड संभालने में आसानी होगी।